Jholachhap Doctor News: मध्य प्रदेश ग्वालियर के ग्वालियर से एक दुखद खबर सामने आई है, जहां एक झोलाछाप डॉक्टर लापरवाही की वजह से एक नाबालिग की जान चली गई। मामला यहां के सिरोल थाना क्षेत्र स्थित फूटी कॉलोनी का है।
प्राप्त जानकारी के मुताबिक, फूटी कॉलोनी निवासी संतोष जाटव अपने 13 साल के बेटे रोहित जाटव एक निजी क्लीनिक में बुखार के इलाज के लिए ले गए थे। इस दौरान झोलाछाप डॉक्टर धीरज गुर्जर की लापरवाही की वजह से नाबालिग रोहित की जान चली गई। घटना की वजह क्षेत्र में लोग छोटे क्लीनिक जाने की वजह से भी डर रहे हैं। वहीं, मृतक रोहित के परिजनों ने आरोपित डॉक्टर के प्रति कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है।
इंजेक्शन लगवाते ही निकलने लगे मुंह से झाग
बुखार के उपचार के लिए संतोष जाटव अपने 13 वर्षीय बेटे रोहित जाटव को यहां के हुरावली रोड स्थित गुर्जर क्लीनिक लेकर गए थे। परिजनों ने आरोप लगाया कि क्लीनिक संचालक डॉक्टर धीरज गुर्जर ने रोहित की कोई जांच किए ही बिना उसे इंजेक्शन लगा दिए। इंजेक्शन लगाने के कुछ समय बाद ही रोहित की तबीयत अचानक बिगड़ गई। उसकी आंखों से आंसू बहने लगे और देखते ही देखते मुंह से झाग निकलने लगे। रोहित की बिगड़ती तबीयत को देखकर परिजन घबरा गए। वह उसे दोबारा जीएच हॉस्पिटल लेकर गए लेकिन तब तक रोहित दम तोड़ चुका था।
परिजनों ने किया चक्काजाम
इस अफसोसनाक घटना से मृतक रोहित के परिजनों में गहरा आक्रोश है। घटना के बाद गुस्साए परिजनों ने हुरावली चौराहे पर चक्का जाम कर दिया। बड़ी संख्या में परिजनों ने प्रदर्शन करते हुए दोषी डॉक्टर के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की। परिजनों ने बताया कि डॉक्टर की लापरवाही की वजह से उनके मासूम बेटे की जान चली गई। हम प्रशासन और पुलिस से मांग करते है कि दोषी डॉक्टर के खिलाफ उचित कार्रवाई कर उन्हें न्याय दिलाया जाए। परिजनों ने दुःखी स्वर में कहा कि अगर उन्हें पता होता कि डॉक्टर इतनी बड़ी लापरवाही करेगा तो वह उसे उस क्लीनिक पर लेकर कभी नहीं जाते। लिहाजा उनका बच्चा आज जीवित रहता।
प्रशासन ने सील किया क्लीनिक
इधर, मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस और प्रशासन की टीम मौके पर पहुंची। सबसे पहले दोषी डॉक्टर के क्लीनिक को प्रशासन ने सील किया। इसके बाद परिजनों को शांतिपूर्वक समझाते हुए दोषी डॉक्टर पर उचित कार्रवाई करने की मांग की गई। सीएसपी हिना खान ने बताया कि एक 13 वर्षीय बालक की मौत के बाद परिजनों ने बॉडी रखकर चक्काजाम किया था। परिजनों का कहना था कि क्लीनिक संचालक ने बच्चे के इलाज में लापरवाही बरती है। इस वजह से उनके बच्चे की जान चली गई। खान ने बताया कि मेडिकल टीम और परिजनों ने आपस में चर्चा की है।