रीवा: रीवा में अक्टुबर में एक सामूहिक दुष्कर्म की घटना सामने आई थी, जहां 8 लोगो ने मिलकर महिला के साथ दुष्कर्म को अंजाम था, जिसके बाद 153 दिन तक चले इस फैसले में न्यायालय ने सभी आठों दोषियों को उम्र कैद की सजा सुनाई है। प्रत्येक दोषी पर दो लाख 30 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया है। मामले की पैरवी कर रहे लोक अभियोजक विकास द्विवेदी के मुताबिक न्यायालय ने इस प्रकरण को विरल से विरलतम प्रकरण मनाते हुए सजा सुनाई है।

लोक अभियोजक के मुताबिक 21 अक्टूबर 2024 को गुढ़ थाना क्षेत्र अंतर्गत भैरव बाबा मंदिर के समीप नल के पास पति को बंधक बनाकर पत्नी के साथ आठ आरोपितों ने सामूहिक दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया था।

पुलिस ने मामला दर्ज करते हुए 21 नवंबर को न्यायालय में चालान पेश किया था। 16 जनवरी 2025 से ट्रायल शुरू हुआ था। 20 मार्च को मामले की आखिरी पेशी की गई। और दो अप्रैल को सजा सुनाई गई है।

भोपाल: मध्य प्रदेश में मौसम में बदलाव दिखाई दे सकता है। अप्रैल के पहले सप्ताह में राज्य के कई हिस्सों में बारिश और ओलावृष्टि की संभावना जताई गई है। वेस्टर्न डिस्टर्बेंस और साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम के प्रभाव से प्रदेश के कई जिलों में तेज़ आंधी, बारिश और ओले गिरने की आशंका है।

1 और 2 अप्रैल को भोपाल, इंदौर, जबलपुर, नर्मदापुरम, रीवा और शहडोल संभाग के कई जिलों में बारिश होने की संभावना है|
मौसम विभाग के अनुसार, कुछ स्थानों पर 40 से 50 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से तेज़ आंधी भी चल सकती है,

बारिश और ओलावृष्टि से गेहूं, चना और सरसों जैसी फसलों को नुकसान हो सकता है। किसानों को सलाह दी जाती है कि वे कटाई और भंडारण को लेकर सतर्क रहें।

मध्य प्रदेश : मध्यप्रदेश के 19 धार्मिक नगरों एवं ग्राम पंचायतों में की गई शराबबंदी की घोषणा पर एक अप्रैल 2025 से अमल शुरू हो जाएगा. मुख्यमंत्री यादव ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा नशामुक्ति की दिशा में ऐतिहासिक कदम उठाया जिसके अंतर्गत इन प्रमुख धार्मिक स्थलों पर शराब की बिक्री पर प्रतिबन्ध लगाया गया है,

इन 19 जगहों पर अब नहीं मिलेगी शराब

1. उज्जैन, 2 ओम्कारेश्वर, 3. महेश्वर, 4. मंडलेश्वर,5.ओरछा, 6. मैहर, 7. चित्रकूट, 8. दतिया, 9. पन्ना, 10. मण्डला, 11. मुलताई, 12. मंदसौर, 13. अमरकंटक, 14. सलकनपुर 15. कुण्डलपुर, 16. बांदकपुर, 17. बरमान कलां, 18. बरमान खुर्द, 19. लिंगा में समस्त मदिरा दुकानों एवं बार को बंद किया जाएगा.

उमरिया। जंगल में जिस तरह से पर्यटक बाघ देखने के लिए उत्सुक होते हैं, उसी तरह से जंगली हाथियों को भी खुले जंगल में देखना पर्यटकों के लिए रोमांचकारी होता है। यह रोमांच पर्यटकों को देश के दक्षिण भारत में ही मिल पाता है, लेकिन अब इसकी संभावना मध्य प्रदेश के उमरिया जिले में स्थित बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में भी नजर आने लगी है।

बता दें कि वर्ष 2018 में जब जंगली हाथियों ने बांधवगढ़ में प्रवेश किया तो वे पर्यटकों के लिए खतरा बन गए थे। वर्ष 2019 से लेकर 2022 तक खितौली में कई महीने तक पर्यटन रोकना पड़ गया था। इसी तरह से ताला में भी पर्यटन पर रोक लगा दी गई थी।

इसकी वजह यह थी कि जंगली हाथियों ने अलग-अलग घटनाओं में पर्यटकों के वाहनों को काफी दूर तक दौड़ाया था। इस तरह की घटनाओं के चलते पार्क प्रबंधन ने सुरक्षा के लिहाज से पर्यटन रोक दिया था।

बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के लगभग सभी हिस्सों में जंगली हाथी दिखाई देने लगे हैं। दरअसल, हाथियों के छोटे-छोटे झुंड बन गए हैं और यह झुंड जंगल के अलग-अलग हिस्सों में दिखाई देते हैं। कई जगह तो अकेला हाथी भी दिखाई देता है।

गुरुवार को सराफा क्षेत्र में अवैध रूप से घरेलू गैस सिलेंडरों के व्यावसायिक उपयोग पर बड़ी कार्रवाई की। बड़ा सराफा मोरसली गली स्थित कमला टावर में एक ज्वेलरी दुकान से 27 सिलेंडर जब्त किए गए।

दुकान में मेटल पिघलाने के लिए इन सिलेंडरों का उपयोग किया जा रहा था, जो सुरक्षा के नजरिये से ठीक नहीं था। जांच के दौरान दुकान पर न तो अग्निश्मन यंत्र थे और न ही संचालक भंडारण से संबंधित कोई डॉक्युमेंट दिखा सके। इसके चलते आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 के तहत प्रकरण दर्ज किया गया है।

सुरक्षा उपकरणों की कमी और दस्तावेजों के ना होने के कारण सभी सिलेंडर जब्त कर लिए गए। यह कार्रवाई बहुमंजिला व्यावसायिक इमारतों में अग्नि सुरक्षा जांच अभियान के तहत की गई।

जिला प्रशासन ने शहर में सुरक्षा मानकों को सख्ती से लागू करने का कार्य का कार्य कर रही है। ऊँची इमारतों में अग्नि सुरक्षा उपायों की जांच तेज कर दी गई है। प्रशासन ने चेतावनी दी है कि नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा रही है ।

भोपाल। शनिवार को मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू और केंद्रीय गृह और सहकारिता मंत्री अमित शाह से मुलाकात की। सीएम ने पहले राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से भेंट कर विक्रमोत्सव के शुभारंभ के लिए आमंत्रित किया। इसके बाद अमित शाह से मुलाकात की। भेंट के दौरान मुख्यमंत्री ने बताया कि मध्यप्रदेश सरकार ने किसानों के हित के लिए नेशनल डेयरी डेवलपमेंट बोर्ड के साथ एमओयू के माध्यम से दुग्ध उत्पादन को 9% से बढ़कर 20% तक ले जाने का लक्ष्य रखा है। सहकारिता के माध्यम से प्रदेश के छोटे और मझोले किसानों तक भी इस योजना की जानकारी पहुंचे, जिससे वे लाभान्वित हो सकें।

मुख्यमंत्री डॉ.यादव ने बताया कि इस अभियान को सफल बनाने के लिए उन्होंने सहकारिता मंत्री अमित शाह को मध्यप्रदेश आने का निमंत्रण दिया है। केंद्रीय मंत्री ने अप्रैल के प्रथम सप्ताह में आने का आश्वासन दिया है। भेंट के दौरान मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने केंद्रीय मंत्री शाह का ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के सफल आयोजन और मार्गदर्शन के लिए धन्यवाद ज्ञापित किया।
1. मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने शनिवार को दिल्ली में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से भेंट की और विक्रमोत्सव के शुभारंभ के लिए आमंत्रित किया। विक्रमोत्सव 30 मार्च को गुड़ी पड़वा के दिन से प्रारंभ होगा।
2. मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने केंद्रीय गृह और सहकारिता मंत्री अमित शाह से मुलाकात की, जिसमें किसानों के हित में दुग्ध उत्पादन को बढ़ाने के लिए योजना बनाई गई और सहकारिता के माध्यम से जानकारी पहुँचाने का प्रयास किया जाएगा।
3. विक्रम विश्वविद्यालय में विक्रमोत्सव के दौरान दीक्षांत समारोह आयोजित किया जाएगा, जो जल गंगा अभियान के साथ शुरू होगा।
4. केंद्रीय मंत्री अमित शाह ने अप्रैल के पहले सप्ताह में मध्यप्रदेश आने का आश्वासन दिया है।

 इंदौर। महालक्ष्मी नगर में गोली लगने से गुरुवार रात में हुई भावना सिंह की मौत में आरोपित आशु यादव, मुकुल यादव और स्वास्ति को जल्द पकड़ने के लिए पुलिस ने बुधवार को तीनों पर 10-10 हजार रुपये का इनाम घोषित किया है।

आरोपित की आखिरी लोकेशन पुलिस को भोपाल मिली थी। इसके बाद अब उनके ग्वालियर और दतिया में रहने की सूचना मिली है। इस पर विभिन्न ठिकानों पर लगातार दबिश दे रही है। इससे पहले पुलिस ने मंगलवार को जिस कमरे में यह घटना हुई थी, उसे किराए पर लेने वाले पीयूष और विख्यात को पकड़ लिया था।

पुलिस को आरोपितों के देश छोड़कर भागने की आशंका थी, इस पर लुकआउट नोटिस जारी किया जा चुका है। ग्वालियर निवासी भावना पर पार्टी के दौरान गोली चली थी जो उसकी आंख में लगी थी।

एडिशनल पुलिस कमिश्नर अमित सिंह ने बताया कि हत्याकांड में शामिल सभी लोगों की पहचान हो गई है। डीसीपी ने 10 हजार का इनाम घोषित किया है। जल्द ही गिरफ्तारी हो जाएगी।

 

इंदौर में एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है, जहां एक रेप पीड़िता को साढ़े पांच घंटे तक तीन अस्पतालों में भटकना पड़ा। पीड़िता को मेडिकल जांच के लिए पीसी सेठी अस्पताल, एमटीएच अस्पताल और फिर से पीसी सेठी अस्पताल भेजा गया। आखिरकार, पीड़िता की मेडिकल जांच हो पाई।

दुष्कर्मियों की हैवानियत ने उसे पहले ही तोड़कर रख दिया था। मंगलवार को जैसे-तैसे उपचार की आस लिए अस्पताल पहुंची तो यहां भी उसके जख्मों को मरहम नहीं मिला। डॉक्टर उसे मेडिकल जांच के लिए अस्पताल-अस्पताल भटकाते रहे। पीसी सेठी अस्पताल पहुंची तो मेडिकोलीगल केस (एमएलसी) का हवाला देकर एमटीएच अस्पताल भेज दिया यहां के डॉक्टरों ने कह दिया कि पीसी सेठी अस्पताल में बहुत स्टाफ है, वहीं जाओ। पीड़िता फिर वहां पहुंची। अबकी बार वहां के स्टाफ ने उससे कहा कि डॉक्टर दोपहर ढाई बजे बाद आएंगे, तुम्हें इंतजार करना पड़ेगा। आखिर साढ़े पांच घंटे भटकने के बाद दोपहर तीन बजे पीड़िता की मेडिकल जांच हो सकी।

सरकारी अस्पतालों का बुरा हाल

यह उदाहरण इस बात का है कि लापरवाही की दीमक किस कदर हमारे सिस्टम को खोखला कर चुकी है। सरकार कितने ही दावे करे, लेकिन वास्तविकता यही है कि आज भी सरकारी अस्पताल में उपचार के नाम पर एक आम आदमी कांप जाता है, इस छवि के लिए सिर्फ सरकार जिम्मेदार हो ऐसा भी नहीं है। दरअसल जिन कंधों पर इन सरकारी अस्पतालों की व्यवस्था बनाए रखने की जिम्मेदारी है, जो कंधे इस जिम्मेदारी के लिए मोटी तनख्वाह पाते हैं, वे खुद न  समय पर अस्पताल पहुंच रहे हैं, न अपनी जिम्मेदारी निभा रहे हैं।

ऐसे भटकती रही पीड़िता

खुड़ैल थाने में 35 वर्षीय महिला ने कुछ दिन पहले एक व्यक्ति के खिलाफ दुष्कर्म का केस दर्ज करवाया था। मंगलवार सुबह 9.30 बजे महिला पुलिसकर्मी के साथ पीड़िता को मेडिकल जांच के लिए पीसी सेठी अस्पताल लाया गया। यहां कोई ड्यूटी डॉक्टर ही नहीं मिला, जबकि एक महिला डॉक्टर की यहां आनकाल ड्यूटी थी।

यहां से पीड़िता को एमटीएच अस्पताल भेजा गया, वहां भी मेडिकल नहीं हुआ। उसे कहा गया कि पीसी सेठी अस्पताल जाओ। पीड़िता करीब एक बजे वहां पहुंची, लेकिन कोई डॉक्टर नहीं था। स्टाफ ने कहा कि ढाई बजे डाक्टर आएंगे, उसके बाद ही मेडिकल जांच होगी। आखिर तीन बजे उसकी जांच हो पाई।

पहले भी दो दिन तक भटकी थी नाबालिग दुष्कर्म पीड़िता

इससे पहले भी कई बार दुष्कर्म पीड़िता मेडिकल के लिए अस्पतालों में इसी प्रकार परेशान होती रही है। फरवरी 2024 में नाबालिग दुष्कर्म पीड़िता दो दिन तक मेडिकल के लिए चक्कर लगाती रही। इस दौरान भी पीसी सेठी अस्पताल से यह कहकर एमटीएच अस्पताल भेजा था कि सोनोग्राफी के लिए डाक्टर नहीं है। एक घंटे बैठाने के बाद उसे रेफर किया था। इस मामले में भी जांच कमेटी बनी थी, लेकिन अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है।

 

Budhani News: बुधनी पूर्व मुख्यमंत्री और वर्तमान में केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान का लंबे समेत तक विधानसभा क्षेत्र रहा है। लेकिन अब बुधनी में ही बेटियां सुरक्षित नहीं हैं। प्रदेश की बेटियों में मामा के नाम से प्रसिद्ध शिवराज सिंह भांजियां उनके ही क्षेत्र में असुरक्षित महसूस कर रही है।

हाल ही में बुधनी के शाहगंज थाना क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले एक गांव में एक युवती से सरेराह छेड़छाड़ की गई। प्राप्त जानकारी के मुताबिक, गाँव के नितेश और कल्लू नमक दो युवकों ने ने बुरी नियत से अपने पड़ोस में रहने वाली 27 वर्षीय युवती से सरेराह छेड़छाड़ की।

युवती और उसका घायल पिता। चित्र : एसीएन भारत

जब युवती ने इसका विरोध किया और मदद के लिए अपने माता पिता को बुलाया तो युवकों मारपीट की। इस हमले में युवती सहित माता पिता घायल हो गए। फिलहाल युवती और उसके माता पिता का इलाज बुधनी अस्पताल में चल रहा है।

इधर युवती की शिकायत पर शाहगंज पुलिस ने दोनों आरोपियों पर विभिन्न धाराओं में मामला दर्ज कर जाँच शुरू कर दी है।

MP News: मध्यप्रदेश में बीजेपी (BJP) के प्रदेश अध्यक्ष की घोषणा जल्द हो सकती है। नए प्रदेश अध्यक्ष को लेकर सियासी हलचलें तेज़ होती दिख रही है। प्रदेश के सभी ज़िलाध्यक्षों की घोषणा के बाद माना जा रहा है कि अब बीजेपी अपने प्रदेश अध्यक्ष पद के लिए चुनाव आयोजित करेगी।

बीजेपी के चुनाव अधिकारी और केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान (Dharmendra Pradhan) के जल्द ही मध्यप्रदेश दौरे में आने की अटकलें लगाई जा रही हैं। वहीं, दूसरी तरफ दावेदार नेता पार्टी के सीनियर नेताओं से मुलाकात कर अपनी दावेदारी पेश कर रहे हैं। बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष के चयन में 2003 से एक ही फॉर्म्युला चला आ रहा है। ऐसे में माना जा रहा है कि इस बार भी पुराने फॉर्म्युले से पार्टी अध्यक्ष का चुनाव हो सकता है।

पूरा हो चुका है वीडी शर्मा का कार्यकाल। चित्र: सोशल मीडिया

गौरतलब हैं कि मध्यप्रदेश की सत्ता में बीजेपी 2003 में आई थी। उसके बाद से यहां बीजेपी की सरकार है। दिसंबर 2018 से मार्च 2020 तक कांग्रेस की सरकार बनीं थी, लेकिन ज्योतिरादित्य सिंधिया के पार्टी छोड़ने के कारण यह सरकार गिर गई थी। 2003 से बीजेपी ओबीसी चेहरे को राज्य का मुख्यमंत्री बनाती आ रही है, वहीं सर्वण चेहरे को प्रदेश अध्यक्ष। ऐसे में माना जा रहा है कि इस बार भी यही फॉर्म्युला लागू हो सकता है।

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2003 में बीजेपी ने ये फार्मूला अपनाया था

2003 में बीजेपी के सत्ता में आने के बाद से ही बीजेपी ने एक फॉर्मूला मध्यप्रदेश में अपनाया है। 2003 के बाद से उमा भारती, बाबूलाल गौर, शिवराज सिंह चौहान और अब मोहन यादव राज्य के मुख्यमंत्री बनें। यह चारों नेता ओबीसी वर्ग से आते हैं। वहीं, इन मुख्यमंत्रियों के कार्यकाल में बीजेपी के संगठन की ज़िम्मेदारी सवर्ण नेताओं को सौंपी है। 2003 के बाद बीजेपी ने कैलाश जोशी, नरेंद्र सिंह तोमर, प्रभात झा, नंदकुमार सिंह चौहान, राकेश सिंह और अभी वीडी शर्मा को प्रदेश अध्यक्ष नियुक्त किया। यह सभी नेता सवर्ण से आते हैं।

ज़िलाध्यक्षों के चयन में भी जातिगत समीकरण

बीजेपी ने मध्यप्रदेश के 62 ज़िलाध्यक्षों के चयन में भी जातिगत समीकरण देखने को मिला है। बीजेपी ने ज़िला अध्यक्षों की घोषणा में सभी वर्गों को साधने की कोशिश की है। 62 में से 29 ज़िला अध्यक्ष सवर्ण वर्ग के हैं। इसके बाद ओबीसी, एससी और एसटी और महिलाओं को भी पद दिए गए हैं।

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ये 3 नाम हैं सबसे आगे

इसके अलावा नरोत्तम मिश्रा का नाम भी इस रेस में है। चित्र: सोशल मीडिया

 

अगर बीजेपी 2003 के चले आ रहे फॉर्म्युले के हिसाब से प्रदेश अध्यक्ष का चुनाव करती है तो सबसे आगे नाम है, बैतूल से विधायक हेमंत खंडेलवाल का। इसके अलावा पूर्व गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा, अरविंद भदौरिया का भी नाम रेस में है। ऐसे में देखना होगा कि इस बार पार्टी किसको प्रदेश अध्यक्ष की ज़िम्मेदारी सौंपती है।

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