छत्तीसगढ़। गरियाबंद की जेल में कैद वन अतिक्रमण के आरोपी की मौत के बाद आदिवासी समाज में आक्रोश है। इसके चलते आदिवासियों ने नेशनल हाइवे 130-सी जाम कर दिया। साथ ही तिरंगा चौक पर सैकड़ों की संख्या में आदिवासी समाज के लोगों ने मृतक के परिजनों के साथ मिलकर प्रदर्शन किया। इस दौरान आक्रोशित लोगों ने वन अफसरों का पुतला भी फूंका।
बता दें कि आरोपी की मौत के बाद बौखलाए समाजजनों ने वन विभाग के अफसरों पर कार्रवाई के अलावा मृतक के परिजनों को 1 करोड़ रुपए का मुआवजा देने की भी मांग की। दरअसल, 28 अगस्त को गरियाबंद परिक्षेत्र के अफसरों ने झितरीडूमर के भोजराम ध्रुव के खिलाफ वन अतिक्रमण की कार्रवाई कर जेल भेज दिया था। गिरफ्तारी के दूसरे दिन उसकी तबीयत बिगड़ गई थी। युवक की बिगड़ती तबीयत को देखते हुए आरोपी को रायपुर सेंट्रल जेल शिफ्ट कर मेकाहारा में उपचार कराया जा रहा था, लेकिन दोपहर को उसकी मौत हो गई। परिजनों का आरोप है कि भोजराम को बीमार हालत में कार्रवाई की गई थी। प्रशासन की समझाइश के बाद भी आक्रोश शांत होता नहीं दिख रहा है।
सर्व आदिवासी समाज के अध्यक्ष लोकेश्वरी नेताम का कहना हैं कि युवक की मौत को लेकर आदिवासी समाज में गहरा आक्रोश है। वहीं लोगों का कहना हैं मृतक के परिजनों को जल्दी नौकरी और मुआवजा दिया जाए। फिलहाल पुलिस ने समझाइश देकर मामला शांत किया करवाया है।